हजूर मेरे ससुराल वाले मुझे काफी प्रताड़ित किया करते हैं तथा कहते हैं अपनी मां बाप को बोलो मेरे नाम से 10 कट्ठा जमीन लिख दे नहीं तो मैं तुमको छोड़कर अपनी प्रेमिका के साथ शादी कर लूंगा जिस समय यह घटना घटी उसे वक्त मैं चार माह की गर्भवती थी ससुराल वालों ने लात मुक्का घूस्सा से मुझे इतना मारा कि मेरे गुप्तांग से खून और पानी गिरना शुरू हो गया उन लोगों ने मेरे दाहिने पैर को भी चूर् दिया मेरे माता-पिता मुझे घर ले आए डॉक्टर से इलाज करवाया ससुराल वालों को सूचना दी कोई देखने के लिए नहीं आया और ना कोई खर्च दिया अंत में पैर में कैंसर हो जाने के कारण दाहिना पैर कटवाना पड़ा इस बीच मेरे पति ने दूसरी शादी कर ली वहीं प्रतिवादी पति सारे आरोपों को झूठ बताता है कहता है कि उसके ससुराल वालों ने लड़की के पैर की कैंसर की बात छुपा कर शादी करवाई और बिना ससुराल वाले की जानकारी के उसका पैर कटवा दिया अब इस अपाहीज पत्नी को रखने के लिए तैयार नहीं है इसलिए लाचार होकर मुझे न्यायालय की शरण लेनी पड़ी और न्यायालय में मैं मुकदमा दायर कर दिया है साथ ही एसपी साहब के के माध्यम से इस केंद्र में भी आवेदन दी हूं पति इस बात को स्वीकार करता है उसकी पत्नी ने उसे धमकी दिया था कि वह उसके यहां 20 साल तक नहीं जाएगी इसलिए उसने दूसरी शादी कर ली केंद्र द्वारा बताया गया कि हिंदू होकर बिना पहली पत्नी को तलाक दिए हुए तुमने दूसरी शादी क्यों कर लिया इसका उसके पास कोई जवाब नहीं था अंत में उसने कहा कि मैं दोनों पत्नी को रखूंगा साथवह यह भी कहा कि उसकी दूसरी पत्नी उसे छोड़कर चली गई है इसलिए मुझे पहली पत्नी को रखने में कोई दिक्कत नहीं है केंद्र के काफी समझाने बुझाने के बाद दोनों आपस में मिल गए और खुशी-खुशी केंद्र से विदा हो गए
पत्नी जानकी नगर थाना की ग्राम तेतराही की है वही लड़का जिला भागलपुर थाना खरीक बाजार खैरपुर कदवा का रहने वाला है मामला को सुलझाने में पुलिस परिवार परामर्श केंद्र की संयोजीका सुधा कुमारी सदस्य अधिवक्ता दिलीप कुमार दीपक स्वाति वैश्य यंत्री बबीता चौधरी रविंद्र शाह जीनत रहमान एवं नारायण गुप्ता ने हम भूमिका निभाई कुल 30 मामलों की सुनवाई की गई 12 मामले निष्पादित किए गए 9 मामलों में पति-पत्नी का घर बसा दिया गया तीन मामलों में सलाह दी गई कि अपने मामले को थाना अथवा न्यायालय से समझा ले